पर समाज कल्याण मंत्री शिवाजी मोघे ने 27 अगस्त को बुलाई बैठक

मुंबई। पिछले दिनों से बंजारा समाज की मांग को लेकर गोर

बंजारा संघर्ष समिती द्वारा राज्य के सभी नेताओं को समाज

कल्याण की मांगों को पूरा करने के लिए ज्ञापन दिया जा रहा है

जिसके उपलक्ष्य में समाज कल्याण मंत्री शिवाजीराव मोघे ने समिती

के दल को 27 अगस्त को बातचीत कर उनकी मांगों पर योग्य हल

निकालने की बात कहीं।

2014-08-31_004913

बंजारा समाज को जात प्रमाणपत्र लेते हुए 1961 पूर्व का

पुरावा मांगा जाता है। जिसे निकालने में काफी मुश्किल होती

है। यह अन्यायकारक शर्त रद्द करने की मांग गोर बंजारा समाज

कर रहा है। प्रमाण पत्र के अभाव से बंजारा समाज को केंद्र व

राज्य सरकार की योजनाओं से वंचित रहना पड़ता है। उसी तरह

से दूसरे राज्य से महाराष्ट्र में आए हुए बंजाराओं को वीजेएनटी में

समाविष्ट करने की मांग की गयी है एवं क्रिमिलेयर की शर्त रद्द

करने की संघर्ष समिती द्वारा मांग की गयी है। आदि मांगों को

लेकर गोर बंजारा संघर्ष समिती द्वारा गोर बंजारा समाज की 4

प्रमुख मांगों को आचार संहिता लगने से पहले दूर करने की मांग

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री व समाज कल्याण मंत्री से की है।

मांगे तुरंत पूरी न करने पर पूरे प्रदेश में धरना आंदोलन मोर्चा जन

जागरण अभियान कर आनेवाले चुनाव में गोर बंजारा समाज

मतदान का बहिष्कार करेगा ऐसी की चेतावनी समिती ने दी है। साथ

ही यह निवेदन 4 प्रमुख पार्टी के अध्यक्षों को दिए गए है जिनमें

राकांपा, काँग्रेस, शिवसेना औरभाजपा शामिल है। गोर बंजारा

संघर्ष समिती के संयोजक व राज बंजारा के संपादक रविराज राठोड

व समिती के पदाधिकारी व कार्यकर्ताओं के शिष्टमंडल ने जब

समाज कल्याण मंत्री शिवाजीराव मोघे से मिलकर निवेदन दिया तो

उन्होंने निवेदन पढ कर दो समस्याओं पर बुधवार को चर्चाए

कर उसपर हल निकालने की बात कहीं है। साथ ही माहूर यवंतमाल

की जनता किड्नी की बिमारी से पिछले कई वर्षों से पिड़ीत है।

जिनमें कई मरीज लाखों रुपया खर्च करने के बावजूद भी उनका इलाज

सहीं ढंग से नहीं हो पाया जिसके चलते उन्हें अपनी जांन गवांनी पड़

रही है। गोर बंजारा समिती द्वारा कहा

जा रहा है कि अगर उनकी मांगों को आचार संहिता लगने से पहले

पूरा नहीं किया गया तो वे विधानसभा मतदान का बहिष्कार

कर अपने आंदोलन को कड़ा रुप देंगे जिसकी जिम्मेदारी सरकार की होगी।