जय सेवालाल बोलो जोड़ो अं समाजेन जोड़ते चालो
“संत श्री सेवालाल बापुर बोल”
“संत श्री सेवालाल बापू के बोल”
कोई केनी भजो मत पूजो मत।
याने: कोई किसीको भजो पुजो मत।
कोई केरी लोही रेडोमत।
याने: कोई किसीका खून बहवो मत।
सणजो चानजो अन जनजो पचज मणजो।
याने: सुनो मंथन करो समझो फिर मानो।
रपीया कटोरो पांणी वकिये।
याने: रूपया कटोरा पानी बिकेगा।
खटिकेन गावढी वेचो मत।
याने: कसाई को गाय बेचो मत।
जिवते धंणीर बीर घरेम मत लावो।
याने: जिवित पती की पत्नी को घर मत लावो।
चोरी लबाडीरो धन घरेम मत लावो।
याने: चोरी झूठ का धन घरमे मत लावो।
केरी निंदा लबाड़ी जूगली मत करो।
याने: किसीकी निंदा झूठ चूगली मत करो।
ये से वातेर जो पत रकाडीये वोर म साथ रियुं।
याने: इन सभी बातौंका पालन जो करेगा उनके मै साथ रहूँगा।
मेरे सारे समाज प्रेमी दोस्तो आने वाली 15 फरवरी 2016 को इस देश के महान संत श्री सेवालाल महाराज की 277 वि जयंती से पहले उनके विचार जन जन तक पहुंचावो। आपका व समाज का शुभ चिंतक रविराज टी राठोड़ संयोजक जी बी एस एस भारत।
इस धरती पर सबसे पहले गौ रक्षक है याने गौ-र गो-र वेवसाइ व्यापारी को ही बंजारा कहते है।
Gajanan D Rathod
Chief Editor – Banjara online news portal
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